Waqf Amendment Act पर विवाद: मौलाना की धमकी “फैसला खिलाफ तो भारत को ठप कर देंगे”, Video से हड़कंप
Waqf Amendment Act पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई शुरू होने से ठीक पहले एक वीडियो ने सोशल मीडिया पर सनसनी मचा दी है। इस वीडियो में एक व्यक्ति, जो खुद को अखिल भारतीय इमाम संघ का जिला अध्यक्ष बता रहा है, यह धमकी देते हुए नजर आता है कि अगर कोर्ट का फैसला उनके पक्ष में नहीं आता, तो वह पूरे भारत को ठप कर देंगे।
यह वीडियो पश्चिम बंगाल विधानसभा में भाजपा विधायक दल के नेता शुभेंदु अधिकारी ने X (पहले ट्विटर) पर शेयर किया है, जिसमें मौलाना खुले तौर पर देशव्यापी आंदोलन और रेल-रोड ब्लॉकेज की बात करते हुए दिखाई दे रहा है।
“We have a hearing on the 15th. We are waiting until that date. If the law goes in our favour, i.e. if the Court (Supreme Court) Orders that it (Waqf Amendment Act) is invalid and cannot be considered a law, then it will be in our favor, and we will not take any actions. We will… pic.twitter.com/OjPIYSldGU
— Suvendu Adhikari (@SuvenduWB) April 15, 2025
🎥 वीडियो में क्या कहा गया?
वीडियो में मौलाना कहते हैं:
“अगर सुप्रीम कोर्ट का फैसला हमारे पक्ष में आता है, तो हम कोई कार्रवाई नहीं करेंगे। हम शांतिपूर्वक रहेंगे। लेकिन अगर हमारे खिलाफ फैसला आता है, अगर वक्फ कानून में कोई भी बदलाव होता है, तो हम उसे स्वीकार नहीं करेंगे। देश की सड़कें और गलियाँ जाम रहेंगी। सिर्फ बंगाल ही नहीं, बल्कि पूरे भारत को ठप कर देंगे।”
उन्होंने यह भी कहा:
“15 तारीख को सुनवाई है। हम तब तक इंतज़ार कर रहे हैं। लेकिन अगर फैसला हमारे पक्ष में नहीं आता, तो 15 तारीख के बाद हम रेलवे को जाम करेंगे। सबसे पहले ट्रेनों को रोका जाएगा। गाँवों में यह अभियान शुरू किया जाएगा। कार, बाइक, ट्रेन — सब कुछ रोका जाएगा।”
🚨 शुभेंदु अधिकारी ने जताई चिंता: “क्या यह सुप्रीम कोर्ट के लिए खतरा है?”
इस बयान के बाद शुभेंदु अधिकारी ने X पर वीडियो शेयर करते हुए गहरी चिंता जताई। उन्होंने लिखा:
“यह व्यक्ति, जो उत्तर दिनाजपुर जिले में अखिल भारतीय इमाम संघ का जिला अध्यक्ष होने का दावा करता है, खुलेआम सुप्रीम कोर्ट के निर्णय को चुनौती दे रहा है। अगर फैसला इनके पक्ष में नहीं आता, तो यह देशभर में रेलवे और सड़कों को अवरुद्ध करने की धमकी दे रहा है। क्या यह भारत के सर्वोच्च न्यायालय की स्वतंत्रता के लिए खतरा नहीं है?”
उन्होंने यह भी सवाल उठाया कि ऐसे बयान देने वालों पर कोई कानूनी कार्रवाई क्यों नहीं हो रही, जबकि यह सीधा कानून-व्यवस्था को चुनौती देने वाला कृत्य है।
🧑⚖️ Waqf Amendment Act क्या है और क्यों है विवाद में?
वक्फ बोर्ड एक धार्मिक ट्रस्ट होता है, जो मुस्लिम समुदाय की संपत्तियों का प्रबंधन करता है। भारत में हजारों करोड़ की वक्फ संपत्तियाँ हैं, जिनका उद्देश्य सामाजिक और धार्मिक कार्यों में उपयोग होना है।
Waqf Amendment Act, 2013 के तहत कई बदलाव किए गए थे, जिनमें वक्फ संपत्ति की सुरक्षा, ट्रांसपेरेंसी, और ऑडिट संबंधी प्रावधानों को मजबूत किया गया था। हालांकि, इसके कुछ प्रावधानों को लेकर हाल के वर्षों में सवाल उठे हैं।
अब सुप्रीम कोर्ट में चल रही सुनवाई इस सवाल पर केंद्रित है कि क्या ये संशोधन संविधान के तहत उचित हैं या नहीं। कुछ याचिकाकर्ताओं का कहना है कि इससे अन्य धार्मिक समुदायों के साथ भेदभाव होता है।
🧩 राजनीतिक प्रतिक्रिया और ममता बनर्जी की भूमिका
शुभेंदु अधिकारी ने सीएम ममता बनर्जी पर भी निशाना साधते हुए कहा कि जब राज्य की कानून-व्यवस्था खतरे में है, तब मुख्यमंत्री ऐसे कट्टरपंथियों के साथ मंच साझा करने जा रही हैं, जो खुलेआम सुप्रीम कोर्ट के फैसले को चुनौती दे रहे हैं।
“यह देश का कानून है। कानून-व्यवस्था राज्य का विषय है। फिर भी ममता बनर्जी ऐसे लोगों के खिलाफ कार्रवाई करने के बजाय उन्हें प्रोत्साहित कर रही हैं।”
❓ अक्सर पूछे जाने वाले सवाल (FAQs)
1. वक्फ संशोधन अधिनियम क्या है और इसका उद्देश्य क्या है?
यह अधिनियम मुस्लिम वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन को लेकर पारदर्शिता और जवाबदेही सुनिश्चित करने के लिए लाया गया था। इसमें संपत्ति के रिकॉर्ड, ऑडिट और शिकायत निवारण को मजबूत किया गया है।
2. क्या किसी धार्मिक व्यक्ति द्वारा सुप्रीम कोर्ट को धमकी देना अपराध है?
हां, देश की न्यायपालिका को धमकी देना या न्यायिक प्रक्रिया को प्रभावित करने की कोशिश भारतीय दंड संहिता के तहत दंडनीय अपराध है। इसके लिए सजा और गिरफ्तारी संभव है।
3. सुप्रीम कोर्ट इस मामले में क्या निर्णय ले सकता है?
सुप्रीम कोर्ट इस अधिनियम की वैधता पर फैसला करेगा। अगर कोर्ट को लगता है कि यह संविधान के खिलाफ है, तो वह कानून को अमान्य कर सकता है या उसमें संशोधन का आदेश दे सकता है।
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